1. प्रथम पाद (20°00' - 23°20' मिथुन, नवांश: मेष, स्वामी: मंगल)
मुख्य प्रभाव
- ऊर्जा और साहस: जातक में अद्भुत जोश, साहस और नेतृत्व क्षमता होती है। ये लोग चुनौतियों से लड़ने में विश्वास रखते हैं।
- रचनात्मक अभिव्यक्ति: कला, संगीत या लेखन के माध्यम से अपनी भावनाएँ व्यक्त करना पसंद करते हैं।
- करियर: सेना, खेल, इंजीनियरिंग, या साहसिक कार्यों में सफलता। नेतृत्व के पदों पर अच्छा प्रदर्शन।
- स्वास्थ्य: सिर, आँखों या माथे से जुड़ी समस्याएँ। गुस्से पर नियंत्रण जरूरी।
- संबंध: रिश्तों में स्पष्टवादी, लेकिन कभी-कभी जल्दबाजी में निर्णय लेने की प्रवृत्ति।
ज्योतिषीय सुझाव: मूंगा धारण करने से आत्मविश्वास बढ़ेगा।
2. द्वितीय पाद (23°20' - 26°40' मिथुन, नवांश: वृषभ, स्वामी: शुक्र)
मुख्य प्रभाव
- भौतिक सुखों का आकर्षण: जातक सुंदरता, आराम और विलासिता से प्यार करते हैं। कला और सौंदर्य के प्रति गहरी रुचि।
- व्यावहारिक बुद्धिमत्ता: धन कमाने और बचाने में कुशल। संपत्ति, ज़मीन या सोना-चाँदी में निवेश की प्रवृत्ति।
- करियर: फैशन, डिजाइनिंग, होटल प्रबंधन, बैंकिंग या कला संबंधी क्षेत्र। खुद का व्यवसाय शुभ।
- स्वास्थ्य: गले, गर्दन या थायरॉयड से जुड़ी समस्याएँ। संतुलित आहार जरूरी।
- संबंध: वैवाहिक जीवन में सुख-सुविधा चाहते हैं, लेकिन कभी-कभी जिद्दी स्वभाव के कारण तनाव।
ज्योतिषीय सुझाव: सफेद मोती धारण करने से रिश्तों में मधुरता आएगी।
3. तृतीय पाद (26°40' - 30°00' मिथुन, नवांश: मिथुन, स्वामी: बुध)
मुख्य प्रभाव
- बौद्धिक क्षमता: तेज बुद्धि, तर्कशक्ति और संचार कौशल में निपुण। भाषाओं, लेखन या शिक्षण में रुचि।
- अनुकूलनशीलता: परिस्थितियों के अनुसार खुद को ढालने की अद्भुत क्षमता। एक साथ कई काम करने में सक्षम।
- करियर: पत्रकारिता, लेखन, शिक्षण, विपणन, या टेक्नोलॉजी। नेटवर्किंग से लाभ।
- स्वास्थ्य: फेफड़े, हाथ या नसों से जुड़ी समस्याएँ। तनाव प्रबंधन जरूरी।
- संबंध: संवाद से रिश्ते बनाना और बिगाड़ना दोनों आसान। बुद्धि के आधार पर साथी चुनते हैं।
ज्योतिषीय सुझाव: हरा पन्ना धारण करने से बौद्धिक क्षमता बढ़ेगी।
4. चतुर्थ पाद (00°00' - 03°20' कर्क, नवांश: कर्क, स्वामी: चंद्रमा)
मुख्य प्रभाव
- संवेदनशीलता और कल्पना: गहरी भावनाएँ, कल्पनाशीलता और सहजानुभूति। दूसरों की पीड़ा समझने की क्षमता।
- पारिवारिक लगाव: परिवार और घर से गहरा जुड़ाव। मातृत्व या पोषण देने वाले कार्यों में रुचि।
- करियर: नर्सिंग, काउंसलिंग, मनोविज्ञान, साहित्य या सामाजिक कार्य। घर से जुड़ा व्यवसाय शुभ।
- स्वास्थ्य: पेट, पाचन या भावनात्मक अस्थिरता। ध्यान और योग लाभकारी।
- संबंध: रिश्तों में समर्पण, लेकिन भावनात्मक जरूरतें अधिक। साथी से भावनात्मक सुरक्षा चाहते हैं।
ज्योतिषीय सुझाव: मोती धारण करने से भावनात्मक संतुलन मिलेगा।
निष्कर्ष: चार पादों का समन्वय
पुनर्वसु नक्षत्र के चार पाद जीवन के चार स्तंभ दिखाते हैं:
- मंगल पाद: साहस और ऊर्जा का प्रतीक
- शुक्र पाद: भौतिक सुख और रचनात्मकता की अभिव्यक्ति
- बुध पाद: बुद्धि और संचार की शक्ति
- चंद्र पाद: संवेदनशीलता और कल्पना का आधार
"पुनर्वसु की यात्रा हर पाद में नए रंग जोड़ती है-जहाँ साहस, सुख, बुद्धि और संवेदना मिलकर जीवन को संपूर्ण बनाते हैं।"
यह ज्ञान जातक को अपनी शक्तियों को पहचानने, चुनौतियों का सामना करने और जीवन को सार्थक दिशा देने में मदद करता है। पुनर्वसु नक्षत्र: जहाँ हर पाद नई शुरुआत, नई संभावना और नया संतुलन लाता है।